Monday, September 30, 2013

लड़कियां जैसे पहला प्यार


पल भर में जीवन महकाएं 
पल भर में संसार जलाएं 
कभी धुप हैं, कभी छाँव हैं 
वुर्फ़ कभी अंगार 
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

बचपन के जाते ही इनकी 
गंध बसे तन मन में 
एक कहानी लिख जाती हैं 
ये सबके जीवन में 
बचपन की ये विदा निशानी 
यौवन का उपहार 
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

इनके निर्णय बड़े अजब हैं 
बड़ी अजब हैं बातें 
दिन की कीमत पर,
गिरबी रख देती हैं रातें 
हंसते-गाते कर जाती हैं 
आंसू का व्यापार
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

जाने कैसे, कब कर बैठें 
जान बूझकर भूलें 
किसे प्यास से व्याकुल कर दें 
किसे अधर से छू लें 
किसका जीवन मरुथल कर दें 
किसका मस्त बहार 
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

इसकी खातिर भूखी-प्यासी 
दहें रात भर जागें 
उसकी पूजा को ठुकरायें 
छाया से भी भागें 
इसके सम्मुख छुई मुई हैं 
उसको है तलवार 
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

राजा के सपने मन में हैं 
और फकीरों संग हैं 
जीवन औरों के हाथों में 
खींची लकीरों संग हैं 
सपनों सी जगमग जगमग हैं 
किस्मत सी लाचार 
लड़कियां जैसे पहला प्यार 

      -कुमार विश्वास

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